हिमाचल न्यूज़ : राज्य सरकार ने मंडी मध्यस्थता योजना के तहत एक लाख तैतालिस हज़ार सात सौ अठहत्तर मीट्रिक टन सेब की खरीद करने का लक्ष्य तय किया है और बागबानो की सुविधा के लिए तीन सौ बारह खरीद केंद्र स्थापित किए जाएंगे.
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने बताया कि इनमें से HPMC द्वारा दो सौ दस और एक सौ दो खरीद केंद्र Hampad द्वारा संचालित किए जाएंगे.उन्होंने कहा कि राज्य सरकार के इस निर्णय से सेब बागबानो को लगभग चौबीस करोड़ रुपए का अतिरिक्त लाभ होगा.
सुखविंदर सिंह सुक्खू ने बताया कि सेब उत्पादको के हित में राज्य सरकार ने मंड़ी मध्यस्थता योजना के तहत सेब के न्यूनतम समर्थन मूल्य को दस रुपए पचास पैसे से बढ़ाकर बारह रुपए प्रति किलों किया और सेब उत्पादों को लाभान्वित करने के लिए पहली बात न्यूनतम समर्थन मूल्य में डेढ़ रुपए की वृद्धि की गई है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि फ़ल उत्पादको को बिचौलियों के शोषण से बचाने के लिए मंडी मध्यस्थता योजना कारगर है और उत्पादन बढ़ाने के लिए सरकार की ओर से यह नवोन्मेषी प्रयास किए जा रहे हैं.उन्होंने बताया कि राज्य सरकार ने केनू, माल्टा और संतरा की खरीद दर भी सेव व आम की समान दर पर लाने का निर्णय लिया है.नींबू प्रजाति के फलों का न्यूनतम समर्थन मूल्य भी अब सेब और आम के बराबर बारह रुपए प्रति किलों होगा.
मुख्यमंत्री ने बताया कि बागबानो की सुविधा के लिए राज्य सरकार ने केनू, माला और संतरे की खरीद के लिए ग्रेडिंग प्रणाली को समाप्त करने का निर्णय लिया है.इसके अलावा मंडी मध्यस्थता योजना के तहत अब नींबू की खरीद भी सेब के बराबर दस रूपये प्रति किलो के हिसाब से की जाएगी.